राशन विक्रेताओं को पांच महीने का खाद्यान्न एक साथ उठाने के लिए बाध्य किए जाने पर खाद्य मंत्री रेखा आर्या ने प्रदेश में तत्काल रोक लगा दी है। साथ में बायोमीट्रिक सत्यापन की व्यवस्था पहाड़ी क्षेत्रों में नेटवर्क समस्या को देखते हुए अस्थायी रूप से रोकने के निर्देश भी खाद्य सचिव सचिन कुर्वे को दिए।
खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले मंत्री रेखा आर्या को पर्वतीय क्षेत्रों के राशन विक्रेताओं ने दूरभाष पर अपनी समस्याएं बताईं। वार्ता होने के बाद मंत्री ने समस्याओं के लिए तत्काल समाधान के निर्देश जारी किए। उन्होंने कहा कि राशन विक्रेताओं के पास खाद्यान्न भंडारण की क्षमता नहीं है और ऐसे में पांच माह का खाद्यान्न उठाया गया तो उसके खराब होने की आशंका है। उन्होंने जिलापूर्ति अधिकारियों को खाद्यान्न उठाने के लिए बाध्य नहीं करने और पूर्व प्रचलित व्यवस्था कायम रखने के निर्देश दिए।
विभागीय मंत्री ने राशन विक्रेताओं को बायोमीट्रिक सत्यापन मामले में भी राहत दी है। उन्होंने कहा कि जो राशन विक्रेता बायोमीट्रिक सत्यापन करा चुके हैं, और खाद्यान्न वितरण सुचारू चल रहा है, वहां इसे यथावत रहने दिया जाए। पर्वतीय क्षेत्रों में इंटरनेट नेटवर्क की समस्या, अंगूठे के निशान दर्ज नहीं होने की व्यवहारिक कठिनाइयों से बायोमीट्रिक सत्यापन में असुविधा हो रही है।
इन क्षेत्रों में लग सकती है रोक
इन क्षेत्रों में समस्या का समाधान होने तक यह व्यवस्था रोकी जाए। उन्होंने कहा कि नेटवर्क न होने से जनता को राशन से वंचित नहीं किया जाए। बायोमीट्रिक सत्यापन अनिवार्य नहीं करने पर एफआइआर दर्ज करने की विभाग की ओर से दी जा रही चेतावनी पर उन्होंने आपत्ति जताई। साथ ही इस पर अस्थायी रोक लगाने के निर्देश दिए गए।
कैबिनेट मंत्री आर्या ने कहा कि राशन विक्रेताओं को सरकारी लैपटाप खराब व घटिया किस्म के होने की शिकायतें मिल रही हैं। इन शिकायतों की जांच कर इनके स्थान पर अच्छी कंपनी के लैपटाप देने के निर्देश दिए गए। उन्होंने खाद्यान्न भंडारों से विक्रेताओं को बगैर तौले खाद्यान्न लेने को बाध्य करने पर आपत्ति की।
साथ ही खाद्यान्न भंडारों में धर्मकांटा लगाकर और खाद्यान्न तौलकर ही देने को कहा गया है। उन्होंने सोमेश्वर खाद्यान्न भंडार की भंडारण क्षमता विस्तारित करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि चम्पावत उपचुनाव संपन्न होने के बाद वह उक्त संबंध में तत्काल समीक्षा बैठक करेंगी। विभाग को उक्त समस्याओं के समाधान के लिए आदेश जारी करने को कहा गया है।
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