श्रीनगर:- रक्तदान किये गये 350 एमएल के ब्लड़ बैग की बर्बादी नहीं हो पायेगी। अब मरीजों को जितना ब्लड़ चाहिए उसी के अनुसार बेस चिकित्सालय के ब्लड़ सेंटर ब्लड़ दे पायेगा। दरअसल ब्लड़ सेंटर को स्टेराइल कनेक्टिंग ट्यूब डिवाइस मशीन उपलब्ध हो चुकी है। इससे डिवाइस के जरिए ब्लड़ सेंटर मरीजों को उनकी आवश्यकता के अनुसार ब्लड़ दे पायेगा। जिससे 350 एमएल का पूरा ब्लड़ बैग खराब नहीं हो पायेगा। ब्लड़ सेंटर का हाईटेक बनाने के लिए प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा एवं चिकित्सा स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत की पहल पर लगातार ब्लड़ सेंटर अपग्रेड हो रहा है।
बेस चिकित्सालय के ब्लड़ सेंटर प्रभारी डॉ. सतीश कुमार ने बताया कि बेस अस्पताल में कई ऐसे मरीजों को उपचार के दौरान ब्लड़ की 50 एमएल की जरूरत होती है, ऐसे में ब्लड़ बैंक को अभी तक पूरा 350 एमएल का बैग देना होता है, ऐसे में बड़ी मात्रा में खून बर्बाद हो जाता था। खून बर्बादी को रोकने के लिए प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री जी से स्टेराइल कनेक्टिंग डिवाइस की डिमांड की गई थी, जिससे डिवाइस पहुंचने से अब मरीजों को जरूरत के अनुसार की ब्लड़ दिया जायेगा। इससे ब्लड़ की बचत होगी जो अस्पताल के अन्य मरीज के उपचार के दौरान प्रयोग आ सकेगा। बेस अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अजेय विक्रम सिंह ने बताया कि उक्त डिवाइस की जरूरत सबसे ज्यादा छोटे बच्चों के लिए उपयोग होगा, जिन्हें कम मात्रा में ब्लड़ चाहिए होता है। उन्होंने कहा कि ब्लड़ सेंटर में उक्त डिवाइस मिलने से ब्लड़ की बर्वादी रूकेगी ही साथ ही ब्लड़ की बचत होने से मरीजों को फायदा मिलेगा। मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सीएमएस रावत ने कहा कि चिकित्सा शिक्षा एवं चिकित्सा स्वास्थ्य मंत्री का मरीज हित यह प्रयास अनुकरणीय है। ब्लड़ सेंटर में तमाम संसाधन उपलब्ध होने से मरीजों को ब्लड़ संबंधी बेहतर सुविधा मिलेगी।
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