मुख्यमंत्री ने कहा राज्य के नौजवानों के हितों की किसी भी रूप में अनदेखी नहीं होने दी जाएगी

देहरादून:-  मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी एवं शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत द्वारा मुख्यमंत्री आवास स्थित मुख्य सेवक सदन में 05 विषयों के चयनित सहायक अध्यापकों (एलटी) को नियुक्ति पत्र प्रदान किये। शिक्षा विभाग के अन्तर्गत 1431 सहायक अध्यापकों को नियुक्ति पत्र प्रदान किये जा रहे हैं। मुख्य सेवक सदन में 150 सहायक अध्यापकों को आज नियुक्ति पत्र प्रदान किये गये।  मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रेरणादाई संबोधन के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा की प्रधानमंत्री का देवभूमि उत्तराखण्ड के प्रति विशेष लगाव है। उनके नेतृत्व एवं मार्गदर्शन में राज्य नई ऊंचाइयों को छू रहा है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस अवसर पर घोषणा की कि राज्य में मुख्यमंत्री उत्थान योजना एवं ज्ञानकोष योजना शुरू की जायेगी। राज्य में छात्रों को आई.ए.एस., आई.पी.एस., पी.सी.एस., एन.डी.ए, सी.डी.एस., मेडिकल एवं इंजीनियरिंग जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए मुख्यमंत्री उत्थान योजना आरंभ की जाएगी। इस योजना के अंतर्गत ऐसे सभी छात्रों को जो अपनी आर्थिक स्थिति के कारण इन परीक्षाओं की कोचिंग नहीं कर पाते हैं, को निशुल्क कोचिंग सुविधा प्रदान की जाएगी तथा छात्रों को ऑनलाइन स्टडी मटेरियल, ऑफलाइन कक्षाएं, परीक्षा से सम्बन्धित पाठ्यक्रम, प्रश्नबैंक आदि सुविधाए उपलब्ध करायी जायेंगी।

ज्ञानकोष योजना के तहत राज्य सरकार द्वारा विभागीय छात्रावास, आश्रम पद्धति विद्यालयों और विभागीय प्रतिष्ठानों का उपयोग करते हुए प्रत्येक जिले में समृद्ध पुस्तकालय स्थापित किये जायेंगे। इन पुस्तकालयों का उपयोग प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले युवा, छात्र, हमारे शिक्षक एवं समुदाय के सदस्य कर सकेंगे। पुस्तकालयों में योग्य अनुभवी और प्रोफेशन व्याख्याताओं को सूचीबद्ध करते हुए एक सम्पर्क केन्द्र बनाया जायेगा जो प्रतियोगी परीक्षाओं से सम्बन्धित विषयगत समस्या को दूर करेंगे। पुस्तकालयों का पूर्ण उपयोग हो सके इसके लिए विशेषज्ञों को सूचीबद्ध किये जाने, पुस्तकों की व्यवस्था, इन्फ्रास्ट्रक्चर आदि की समीक्षा विशेषज्ञ समिति द्वारा की जायेगी।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सभी चयनित सहायक अध्यापकों को बधाई देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में राज्य में बेरोजगार युवाओं को रोजगार दिये जाने के लिए एक अभिनव प्रयास के रूप में इस रोजगार मेले की शुरूआत की जा रही है। राज्य सरकार का प्रयास है कि प्रदेश के युवाओं के लिए रोजगार के अधिक से अधिक अवसर उपलब्ध करवाए जाएं और उनके सशक्तिकरण को सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने कहा कि सरकारी विभागों में खाली पड़े पदों को भरने के लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। इसके लिए अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी द्वारा प्रत्येक 15 दिन में समीक्षा की जा रही है। पूर्व में जिन भर्तियों में अनियमिताएं पाई गई हैं, उन पर भी पूरी ईमानदारी के साथ कार्रवाई कर रही है, इसी का नतीजा है कि आज नकल माफिया और उसे समर्थन देने वाले या आगे बढ़ाने वाले लोग बहुत परेशान हैं,क्योंकि उन्हें अब दिन में भी स्वयं के जेल जाने के सपने दिखाई दे रहे हैं।

 

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के नौजवानों के हितों की किसी भी रूप में अनदेखी नहीं होने दी जाएगी और जो भी दोषी होगा उसको बख्शा नहीं जाएगा। सरकार ने भर्ती परीक्षाओं के लिये प्रदेश में कठोर नकल विरोधी कानून लागू किया है। उन्होंने कहा कि कुछ कुत्सित मानसिकता के लोग अभी भी अनाप-शनाप आरोप लगाकर सरकार की छवि को धूमिल करने का प्रयास कर रहे हैं। ऐसे लोग सरकार पर आरोप लगा रहे हैं, जिनको नौकरी और रोजगार के बीच फर्क नहीं पता, वे उपदेश दे रहे हैं। राज्य में नए-नए नैरेटिव गढ़ने के लिए आधी-अधूरी चीजों को पकड़ कर झूठ फैलाने के साथ-साथ युवाओं को भटकाने की कोशिश की जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी राज्य व राष्ट्र का भविष्य विद्यालयों में निर्मित होता है। एक अच्छा शिक्षक ही इस भविष्य को गढ़ता है।  इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, महानिदेशक विद्यालयी शिक्षा बंशीधर तिवारी, निदेशक माध्यमिक शिक्षा सीमा जौनसारी एवं शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।

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